गांव के बच्चों को अफसर बनाने की ललक, अब साकार होगा सपना

दिलीप सोलंकी @ अर्थ न्यूज नेटवर्क


रामसीन. शिक्षा के लिहाज से पिछड़े जिलों में शुमार जालोर के सुदूर गांवों व छोटे कस्बों में भी अब हालात बदलने लगे हैं। जिले के गांवों से कई युवाओं के आईएएस व आरएएस सरीखी प्रतियोगी परीक्षाओं में चयन के बाद अब इन गांव-कस्बों में भी तालीम के मायने बदलने लगे हैं। यही वजह है कि निजी विद्यालयों की तर्ज पर सरकारी विद्यालयों में आधुनिक शिक्षा तकनीकी विकसित करने पर जोर दिया जाने लगा है। कुछ ऐसी ही कवायद हो रही है इन दिनों रामसीन कस्बे के राजकीय माध्यमिक विद्यालय में। इसके लिए तैयारियां शुरू की जा चुकी हैं। सब कुछ ठीक रहा तो जल्द ही यहां अध्ययनरत विद्यार्थी भी आधुनिक शिक्षा हासिल करेंगे।

 
दरअसल, कस्बे के राजकीय माध्यमिक विद्यालय में आधुनिक शिक्षा तकनीकी विकसित करने की तैयारियां चल रही हैं। विद्यालय प्रबंधन की ओर से कक्षा-कक्षों में ऑनलाइन क्लासेज संचालित करने के लिए सॉफ्टवेयर तैयार करने के साथ ही इसका मॉडल बनाने पर अंतिम चरण में कार्य चल रहा है। इसके लिए विद्यालय में तकनीकी सिस्टम तैयार किया जा रहा है। जिससे कक्षा-कक्षों में प्रोजेक्टर लगाकर विद्यार्थियों को अध्ययन करवाया जाएगा। विद्यालय प्रबंधन की मानें तो इसके साथ ही परीक्षा परिणाम श्रेष्ठ बनाने के लिए कुछ अन्य नवाचार किए जाएंगे। इसके अलावा विद्यार्थियों को कॅरियर गाइडेंस भी मदद दी जाएगी।

 

अभिभावक-अध्यापक परिषद की बैठक आयोजित

राजकीय माध्यमिक विद्यालय में सोमवार को अभिभावक-अध्यापक परिषद की बैठक आयोजित की गई। जिसमें अभिभावकों ने अध्यापकों से शैक्षणिक स्तर पर परीक्षा परिणामों पर विस्तृत वार्ता की। इस दौरान अध्यापकों व अभिभावकों की ओर से विद्यालय विकास को लेकर राय-मशवरा किया गया। परिषद के श्यामसुन्दर अग्रवाल ने संस्थान प्रधान से प्रतिभाओं के लिए पुरस्कार और गरीब तबके के विद्यार्थियों को आर्थिक सहयोग देने की बात कही। इस मौके रणजीत सोलंकी, भरत रावल, हरीश देवासी, मांगीलाल घांची, देवाराम, राजूसिंह राव, अनिलसिंह, मिथुन सोलंकी समेत कई लोग मौजूद थे।

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